‘पेयजल के लिए मानक’ विषय पर राज्‍य सरकारों के लिए आयोजित कार्यशाला का उद्घाटन किया

केन्द्रीय उपभोक्ता कार्य, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्री राम विलास पासवान ने आज 'पेयजल के लिए मानक' विषय पर राज्य सरकारों के लिए भारतीय मानक ब्‍यूरो (बीआईएस) द्वारा आयोजित एक दिवसीय कार्यशाला का उद्घाटन किया। कार्यशाला का उद्देश्‍य पेयजल (आईएस 10500:2012) के लिए भारतीय मानक की जरूरतों और अन्‍य भारतीय मानकों से संबंधित सूचनाओं पर विचार-विमर्श करना है, ताकि पूरे देश के सभी घरों में गुणवत्‍तापूर्ण पेयजल की उपलब्‍धता सुनिश्चित की जा सके। प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी के जल जीवन मिशन के लक्ष्‍यों को ध्‍यान में रखते हुए यह आयोजन किया गया है। उद्घाटन के अवसर पर राज्‍य मंत्री राव साहेब दानवे, उपभोक्‍ता कार्य सचिव अविनाश के. श्रीवास्‍तव और बीआईएस के डीजी  प्रमोद कुमार तिवारी उपस्थित थे।



उद्घाटन के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए  राम विलास पासवान ने आम लोगों को सुरक्षित पेयजल की आपूर्ति की जरूरत पर बल देते हुए कहा कि जन स्‍वास्‍थ्‍य के लिए यह प्राथमिक आवश्‍यकता है।  पासवान ने कहा कि इस संबंध में केन्‍द्र सरकार और बीआईएस सभी आवश्‍यक कदम उठाने तथा राज्‍य सरकारों और विभिन्‍न एजेंसियों को समर्थन देने के लिए तैयार है। कार्यशाला में विचार-विमर्श का अच्‍छा परिणाम सामने आया। सभी राज्‍य बीआईएस जल मानक लागू करने के प्रति सहमत थे।कार्यशाला में सुरक्षित पेयजल की आपूर्ति के संदर्भ में आईएस 10500:2012 अनुपालन के लिए पंजीकरण योजनाओं तथा परीक्षण सुविधाओं से संबंधित जानकारियों पर विचार-विमर्श किया गया। अंतर्राष्‍ट्रीय मानको, भारतीय मानक और डब्‍ल्‍यूएचओ दिशा-निर्देशों के बीच परस्‍पर समानताओं का भी ब्‍यौरा प्रस्‍तुत किया गया। विभिन्‍न राज्‍य के प्रतिनिधियों को सुरक्षित पेयजल आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए किये गए उपायों के संबंध में जानकारी दी गई।         


उपभोक्ता कार्य, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्रालय के निर्देशों के अनुरूप बीआईएस में देश में पाईप द्वारा आपूर्ति किये जाने वाले पेयजल की गुणवत्‍ता का अध्‍ययन करने का फैसला किया है। यह अध्‍ययन आईएस 10500:2012 की जरूरतों को ध्‍यान में रखते हुए किया जायेगा। विभिन्‍न राज्‍यों की राजधानियों से लिये गये नमूनों से यह पता चलता है कि अधिकांश नमूने भारतीय मानक के मानदण्‍डों पर खरे नहीं उतरते हैं।