रिड्यूस  रियूज रिसाइकल. कबाड़ में जान फूंकने की पहल पर होगा फोकस

ग्रेटर नोएडा (फेस वार्ता भारत भूषण ) - विश्व में एक ही छत के नीचे होने वाले हस्तशिल्प निर्यातकों के सबसे बड़े आयोजन के तौर पर लिम्का बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज आईएचजीएफ. दिल्ली फेयर के 48वें संस्करण का शुभारम्भ 16 अक्टूबर 2019 को ग्रेटर नोएडा के इंडिया एक्स्पो सेंटर एण्ड मार्ट में होगा।20 अक्टूबर 2019 को शो के समापन तक इसमें दुनियाभर से आयातक और बड़े घरेलू खुदरा खरीददार शामिल होंगे।
ईपीसीएच के चेयरमैन रवि के. पासी ने बताया कि इंडिया एक्स्पो सेंटर एण्ड मार्ट में एक लाख 97 हजार वर्ग मीटर क्षेत्रफल में 5 दिन तक होने जा रहे आईएचजीएफ. दिल्ली फेयर के दौरान देशभर से आए  3200 से अधिक हस्तशिल्प निर्यातक होम, लाइफस्टाइल, फैशन, फर्नीचर एवं टेक्सटाइल्स जैसी 14 उत्पाद श्रेणियों और 300 से अधिक ट्रेंड्स के2000 से अधिक उत्पाद यहां प्रदर्शित करेंगे। 



उन्होंने बताया कि हाउसयर होम फर्निशिंग फर्नीचर गिफ्ट्स एवं डेकोरेटिव, लैम्प्स एवं लाइटिंग, क्रिसमस एण्ड फेस्टिव डेकोर फैशन ज्यूलरी एण्ड एसेसरीज स्पा एण्ड वेलनेस कारपेट एवं रग्स बाथरूम एसेसरीज गार्डन एसेसरीज एजूकेशनल टॉयस एण्ड गेम्स, हैंडमेड पेपर प्रोडक्ट्स एण्ड स्टेशनरी लेदर बैग्स जैसी 14 श्रेणियों के उत्पाद यहां प्रदर्शित किए जाएंगे। 
ईपीसीएच चैयरमैन रवि के. पासी ने बताया कि निर्यातकों और दुनियाभर के खरीददारों से आईएचजीएफ दिल्ली फेयर को प्रबल समर्थन मिलता रहा है। बहुरंगी संस्कृति की उम्मीदों को साकार करने तथा नवाचारों, बेहतरीन उत्पादों और खरीददारी का उपयुक्त माहौल प्रदान करने के संकल्प के साथ इस फेयर ने अपने 48 वें संस्करण तक शानदार सफर तय किया है। पासी ने कहा कि देश के कोने.कोने में 70 लाख से अधिक हस्तशिल्पियों द्वारा तैयार किए जाने वाले विविध उत्पाद में भारत की विविधता की खूबसूरत मिसाल पेश करते हैंए साथ ही बहुमूल्य विदेशी मुद्रा भी अर्जित करते हैं। हस्तशिल्प क्षेत्र मंे हाथों के हुनर को आगे बढ़ाते हुए आयातित चीजों पर न्यूनतम निर्भरता रखते हुए स्थानीय कच्चे माल से बेहतरीन उत्पाद तैयार किए जा रहे हैं। इस शो में आने वाले विदेशी खरीददारों में होलसेलर्स डिस्ट्रीब्यूटर्स चेन स्टोर्स, डिपार्टमेंटल स्टोर्स रिटेलर्स मेल ऑर्डर कम्पनीज ब्राण्ड ओनर्स बाइंग हाउसेज डिजाइनर्स और ट्रेंड फोरकास्टर्स तक शामिल होते हैं।ईपीसीएच के महानिदेशक राकेश कुमार ने बताया कि पर्यावरण संरक्षण के लिए शाश्वत विकास को प्रोत्साहन देने के उद्देश्य से ईपीसीएच इस बार शो में रिफ्यूज, रिड्यूस रियूज एण्ड रिसाइकलश् पर फोकस कर रहा है। प्लास्टिक, धातु, लकड़ी, फैब्रिक की बेकार वस्तुओं का इस्तेमाल शो में सजावट और आकर्षण बढ़ाने के लिए किया गया है। 



इसके साथ ही प्लास्टिक का उपयोग घटाने के लिए ईपीसीएच ने इस बार बोतलबन्द पानी का इस्तेमाल करने के बजाय धातु की बनी पानी की बोतलों का उपयोग करने का निश्चय किया है। शो मे आने वाले मेहमानों और एग्जीबिटर्स को यही बोतलें उपलब्ध कराई जाएंगी, जिन्हें आयोजन स्थल पर बने वाटर स्टेशनों पर दोबारा भरा जा सकेगा। 
आईएचजीएफ दिल्ली फेयर मेंअल्बानिया ऑस्ट्रिया ऑस्ट्रेलिया, अर्जेंटीना, अफगानिस्तान, अल्जीरिया, बेल्जियम, बहरीन, बांग्लादेश, ब्राजील, चिली, कोलम्बिया, कनाडा, चीन, डेनमार्क, मिस्र, फ्रांस, घाना, जर्मनी, यूनान, हॉलैण्ड, हंगरी, हांगकांग, इटली, इजराइल, ईरान, इंडोनेशिनया, जॉर्डन, जापान, कोरिया केन्या, लेबनान, मेक्सिको, न्यूजीलैंड, नॉर्वे, नाइजीरिया  वियतनाम और जिम्बाब्वे सहित 110 से अधिक देशों से खरीददार और मेहमान शिरकत करेंगे।


शो में इस बार लीबिया, मालीए मेडागास्कर और मॉल्डोवा जैसे देशों के खरीददारों ने आने के लिए पंजीकरण कराया है।


शो में हिस्सा लेने वाले ब्राण्ड्स में एल्बी, ऑस्ट्रेलियाय डेकोकैण्डल बेल्जियमय टोक एण्ड स्टोक ब्राजीलय नुवो लिविंग कनाडाय रेंदेवु डेकोएवं माइले ईटी क्लेयरे फ्रांसय फिशर्स जीएमबीएस जर्मनीय आइशिन ट्रेडिंग एवं तोमो कॉर्पोरेशन जापानय फेला डिजाइन मलेशियाय बेकारा मेक्सिकोय एडलमैन बीवी नीदरलैण्ड्सय अनोस्का एवं परफेक्ट होम नॉर्वेय  सुपरबैलिस्ट दक्षिण अफ्रीकाय अल कोर्टे इंग्लेस स्पेनय द मोशी ऑस्कर एण्ड क्लोथिल्डे ब्रूका डिजाइन एबी एवं पीआर होम स्वीडनय मैगजीन जमग्लोबस एवं माइग्रोस स्विट्जरलैण्डय चक्र, तुर्कीय लंदन ऑर्नामेंट्स, पार्लेन, अमारा, यूकेयएवं अमेरिका के कलालोउ, जॉन रॉबशॉ टेक्सटाइल्स, लाइफटाइम ब्राण्ड्स, फैब हेबिटाट डीबी इम्पोर्ट्स द इम्पोर्ट कलेक्शन, इमैक्स कॉर्पोरेशन रॉस क्रैकर बैरल, रिस्टोरेशन हार्डवेयर लैम्बर्ट, एनन एक्सए बर्टऩबर्टन, एपलमैन -शॉबन, पार्क डिजाइन्स, बेड बाथ -बियॉण्ड टूष्ज कम्पनी एण्ड एंथ्रोपोलॉजी जैसे ब्राण्डस और डिपार्टमेंटल स्टोर्स शामिल हैं। 


कई भारतीय रिटेल एवं ऑनलाइन ब्राण्डस भी इस शो में नियमित रूप से शामिल होते रहे हैं। इस बार भी एम्बियांस मॉल, रिलायन्स वुडलैण्ड द विशिंग चेयर द ग्रेट इंडियन बाजार फर्न्स एण्ड पेटल्स, सिग्नेचर होम्स, इवोक ;हिन्डवेयर होम प्लस रिटेल कैफे बेला इटैलिया एवं बोरोसिल जैसी रिटेल कम्पनियों ने इस बार शो में विजिट करने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है। 
जब से ईपीसीएच ने बड़े घरेलू खुदरा खरीददारों को शो में आमंत्रित करना शुरू किया है| फैबइंडिया, गोदरेज पेपर फ्राइण्कॉम डीष्मार्ट, फैब एन रगए वेस्टसाइड /होम, पर्पल टर्टल्स, द ललिल, जेपी वसंत कॉन्टिनेन्टल डीएलएप ब्राण्ड्स गुड अर्थ डिजाइन स्टूडियो जैसे ब्राण्ड्स तोउस वक्त से ही इस फेयर में विजिट कर रहे हैं।
श्री राकेश कुमार ने आगे बताया कि उत्तर.पूर्वी राज्यों के थीम.आधारित डिस्प्ले इस शो का खास आकर्षण बन चुके हैं और इस संस्करण में भी इन राज्यों के 20 से अधिक शिल्पकार अपने उत्पाद प्रदर्शित करेंगे। उन्होंने कहा कि भारत का उत्तर.पूर्वी क्षेत्र इको.फ्रेंडली क्राफ्ट्स की दृष्टि से समृद्ध है। असमए नगालैंडए अरुणाचल प्रदेशए मणिपुरए मेघालयए मिजोरमए सिक्किम एवं त्रिपुरा जैसे उत्तर.पूर्वी राज्यों में बेंतए बांसए लकड़ीए सिल्कए क्ले और प्राकृतिक रेशे जैसे प्राकृतिक कच्चे माल की बहुतायत है। ईपीसीएच के सतत प्रयासों से उत्तर पूर्वी राज्यों के निर्यात में वृद्धि हुई है और यह वर्ष 2017-18 में 1075. 74 करोड़ रुपए से 23. 05 प्रतिशत बढ़कर वर्ष 2018-19 में 1323. 39 करोड़ रुपए हो गया है।
जम्मू एवं कश्मीर भी अपनी खूबसूरती और खास किस्म के कच्चे माल के लिए प्रसिद्ध है ,जिनसे  वालनट एवं पेपर मैशी के शेप क्राफ्ट क्र्यूल इम्ब्रॉयडरी, पश्मीना शॉल, नमदास कुशन कवर एवं होम फर्निशिंग, नकाश सिल्कवेयर, विलो बास्केट, कॉपर एवं ब्रासवेयर जैसे उत्पाद तैयार किए जाते हैं। जम्मू.कश्मीर के 20 सेअधिक हस्तशिल्पी अपने उत्पादों का प्रदर्शन इस बार आईएचजीएफ. दिल्ली फेयर में करेंगे। 
शो में पहली बार भारत.चीन बॉर्डर पर स्थित आखिरी गांव माना गांव के 10 शिल्पकार अपने कार्पेट्सए शॉल्सए वूलन गारमेंट्सए कुशन कवर आदि क्षेत्रीय उत्पाद प्रदर्शित करेंगे। 
कुमार ने बताया कि विभिन्न क्राफ्ट कल्स्टर्स में शिल्पकारों के कौशल विकास में ईपीसीएच के अनुभव को देखते हुए सार्वजनिक क्षेत्र की नवरत्न कम्पनी ओएनजीसी ने अपनी सीएसआर पहल के अंतर्गत ईपीसीएच को डिजाइन से जुड़े इनपुट प्रदान करने का जिम्मा सौंपा। इस पहल में ईपीसीएच ने 50 शिल्पकारों को नवीनतम डिजाइन के रस्सी और जूट के उत्पाद तैयार करने में मदद की। इनमें से 5 शिल्पकार अपनी नई डिजाइन्स के लेस और जूट उत्पाद भी शो में प्रदर्शित करेंगे। 
पांच दिवसीय शो के दौरान ई.कॉमर्स में उपलब्ध अवसरोंए लघु एवं मध्यम उद्यमों के लिए विदेशी विनिमय सेवाएंए जोखिम न्यूनीकरण और साख बीमाए डिजाइन एवं ट्रेंड्सए श्रेष्ठता का अगला स्तर छूने और हैंडीक्राफ्ट सेक्टर के लिए पैकेजिंग जैसे विषयों पर विचारों के आदान.प्रदान के लिए नॉलेज सेमिनार्स भी आयोजित की जाएंगी। 
फेयर के दौरान आयोजित किए जाने वाले फैशन शो में एग्जीबिटर्स के उत्पादों को मॉडल्स शोकेस भी करेंगे। 
ईपीसीएच के महानिदेशक श्री कुमार ने बताया कि शो के पर्याप्त प्रचार.प्रसार के लिए परिषदने दुनियाभर में अंतरराष्ट्रीय मैगजीन्स में विज्ञापनोंए ऑनलाइन पोर्टल्सए आउटडोर मीडिया एवं इंटरनेशनल इवेंट्स में रोड शोज के जरिए व्यापक प्रोत्साहन एवं प्रचार अभियान चलाया है।  
ईपीसीएच के डीजी श्री कुमार ने बताया कि वर्ष 2018- 19 में हैंडीक्राफ्ट निर्यात 26,590. 25 करोड़ रुपए रहा था। अप्रेल.सितम्बर 2019 की छमाही में हैंडीक्राफ्ट निर्यात 12543. 07 करोड़ ;अनुमानित रहा है|  जो गत वर्ष की इस अवधि की तुलना में 2. 11 प्रतिशत अधिक है।